JISE PIKE SARI DUNIYA

Vinod Aggarwal

*जिसे पीके सारी दुनियाँ,तेरे दर पै झूमती है।*
*मुझे यह बतादे आका, वह सराब कौनसी है।।*

*जिसे पीके सारी दुनिया...*

*~तेरी बन्दगी की लज्जत, कोई मेरे दिल से पूछे।*
*तुझे याद करके रोना, यही मेरी बन्दगी है।।*

*जिसे पीके सारी दुनिया...*

*~मेरी हर नज़र मुहब्बत,तेरी हर नज़र कयामत।*
*मैं खाक ए - जिन्दगी हूँ, तूँ बहार-ए जिन्दगी है।।*

*जिसे पीके सारी दुनिया...*

*~तेरी याद मेरी उलफत,तेरा गम मेरी मुसर्रत।*
*तुझे कैसे भूल जाउँ,तूँ हबीब - ए जिन्दगी है।।*

*जिसे पीके सारी दुनिया...*

*~न हरम से कोई निस्बत, न बुतों से दोस्ती है।*
*तेरे दर पै सर झुकाना, यहीं मेरी बन्दगी है।।*

*जिसे पीके सारी दुनिया...*

*~जरा चिलमने उठा दो, गम -ए आशिकी का सदका।*
*इन्हीं चिलमनों में पिन्हा, मेरा राज़-ए जिन्दगी है।।*

*जिसे पीके सारी दुनिया...*

*~तेरा अहतराम शायद, कहीं मुझसे खो न जाये।*
*अभी सामने न आना, अभी दौर-ए बेखुदी है।।*

*जिसे पीके सारी दुनिया...*

*~मेरी बेखुदी सलामत, यह जुनूँ भी है इबादत।*
*जहाँ सर झुके न उठे, यह नमाज़ें - ए आशिकी है।।*


*जिसे पीके सारी दुनियाँ,तेरे दर पै झूमती है।*
*मुझे यह बतादे आका, वह सराब कौनसी है।।*

Lyrics Submitted by Vikas Dalela

Lyrics provided by https://damnlyrics.com/